Search
  • Noida, Uttar Pradesh,Email- masakalii.lifestyle@gmail.com
  • Mon - Sat 10.00 - 22.00

Category Archives: Lifestyle

Do not do these 5 things even by mistake, if there is doubt on them, the loss in the relationship will be a little less

प्रतीक को शक है कि उनकी पार्टनर रश्मि किसी और के साथ भी रिलेशन में हैं। वह आपसे छुपकर किसी और के साथ रिश्ता(Relation) बढ़ा रही हैं। वह प्यार आपको दिखा रही हैं पर इसका अहसास किसी और को भी करा रही हैं।

ये अहसास केवल प्रतीक का संदेह भर है। अभी उन्हें इस बात का कोई सबूत नहीं मिला है। मगर इस एक शक भर ने उनके रिलेशन को बिल्कुल खराब कर दिया है। वह अब रश्मि से अलग होने वाले हैं, जबकि रश्मि का कहीं और रिश्ता था ही नहीं।

क वाली गलती अक्सर कई पुरुष कर देते हैं। उन्हें अपनी पार्टनर का किसी से बात करना और हंस लेना भर अच्छा नहीं लगता है। वो इसे पहले शक और फिर बेवफाई का नाम देते हैं और फिर कोई ना कोई ऐसा काम कर देते हैं, जिससे उनके रिश्ते पर खराब असर पड़ता है।

बेवफा होने का शक

अगर आपको भी गर्लफ्रेंड से ये दिक्कत है कि वो आपके पीछे किसी और से प्यार में पड़ी हैं तो खुद को बेवकूफ ना बनने दें। लेकिन साथ ही ऐसा कुछ भी ना कीजिए कि सिर्फ शक के कारण आपका रिश्ता खराब हो जाए। ऐसे हालात में क्या किया, जाए क्या नहीं, आइये जानते हैं-

1. बदले की भावना गलत

भरतीय पुरुषों में मेल ईगो का डोज हमेशा से ज्यादा ही रहा है। ऐसे में जब भी उन्हें ये शक होता है कि पार्टनर उनके साथ-साथ किसी और के साथ भी रिश्ता निभा रही है तो वो उन्हें सजा देने निकल पड़ते हैं।

वो सही-गलत की जांच किए बिना ही पार्टनर को सबक सिखाने वाले अंदाज में आ जाते हैं। कह सकते हैं कि बिना कुछ भी जांचे समझे वो दुनियाभर को बताने लगते हैं कि उनकी पार्टनर बेवफा है। वो किसी के काबिल नहीं है।

कई लोग तो सोशल मीडिया तक पर ये मामला शेयर कर देते हैं। लेकिन सोचिए जरा अगर आपका शक बेबुनियाद हुआ तो। तो आपका ये प्यारा रिश्ता भी आपके हाथ से निकल जाएगा। इस रिश्ते को बचाने के लिए थोड़ा सबूत ढूंढिए तब आगे बढ़िए।

2. दोस्तों को हरगिज ना बताएं

सिर्फ शक होने भर से आप इतना न दुखी हो जाएं कि अपने दुःख दर्द सारे दोस्तों से साझा कर लें। ध्यान दें, सब आपके ऐसे दोस्त नहीं होंगे जो आपका राज अपने तक ही रखें।

वो आपकी बात किसी और को बता सकते हैं और ये बात बेवजह पूरी दुनिया के कानों में पड़ सकती है। जबकि अगर आपकी पार्टनर गलत हैं भी तो उनकी ऐसी बात दुनिया को बताने की जरूरत नहीं है।

आप उनके दिए प्यार की खातिर भी शांत रह सकते हैं। ये रिश्ते से निकलने का आसान तरीका होगा।

3.अचानक से रिश्ते में सही नहीं

आपको अपने पार्टनर पर बेवफाई का शक है। आपको अभी कोई भी पक्की बात नहीं पता है लेकिन फिर भी आप निर्णय पर आ गए हैं कि आप दोनों को अलग हो जाना चाहिए।

आपने अपनी तरफ से ब्रेकअप कर भी दिया है। लेकिन इस जगह पर आप गलत हैं। आप उनसे सामने बैठकर बात कीजिए। उनका जवाब सुनिए, खुद चीजें परखिए और तब निर्णय लीजिए। अगर बिना सोचे-समझे निर्णय ले रहे हैं तो आप सही नहीं हैं।

सिर्फ सोचते ही ब्रेकअप सोचना सही नहीं है। बल्कि इससे पहले मामले को पूरा समझिए, तब बात कीजिए।

4.उनके पार्टनर से बात

If your girlfriend is angry then never say these five things..

कई लोग ऐसा करते हैं कि जब उन्हें अपने पार्टनर पर बेवफाई का शक होता है तो वो पार्टनर से तो नाराज होते ही हैं। लेकिन साथ में पार्टनर के तथाकथित पार्टनर से भी पूरी नाराजगी दिखाते चलते हैं।

वो उनके घर तक पहुंच जाते हैं या फिर ऑफिस भी। अपने पार्टनर से सवाल पूछते ही हैं उनके पार्टनर से भी खराब व्यवहार करते हैं।

जबकि पार्टनर के पार्टनर तो आपके लिए एक अजनबी हैं। आपके लिए आपकी पार्टनर जिम्मेदार हैं और आप सिर्फ उन्हीं से पूछ सकते हैं, किसी और से नहीं।

5. समझदार दोस्त ढूंढिए

ये वो स्थिति है जब आपको किसी अच्छे और समझदार दोस्त से सुझाव की जरूरत होगी। आपको ये बात सारे दोस्तों को नहीं बतानी है बल्कि सिर्फ उन दोस्त को बताएं जो आपको इस स्थिति से निकलने में आपकी मदद कर सकते हैं।

अगर वो कुछ खास न कर पाएं तो कम से कम आपको मानसिक सहयोग दे पाएं। ऐसा दोस्त आपको ढूंढना होगा जो आपको स्थिति से निकलने और इसको समझदारी से हैंडल करने में मदद करें।

इसके लिए आप अपने परिवार में से भी किसी को चुन सकते हैं। बड़ा भाई या बहन। ये लोग भी आपको सही रास्ता चुनने में मदद करेंगे और आप सही निर्णय ले पाएंगे।

mother

मां, वह घर छूटे अरसा हो गया है और वैसे ही वह बेफ़िक्री से सोए हुए अरसा हो गया। तुम्हें याद है, मैं हमेशा तुम्हें कह कर सोती थी कि मां मुझे जल्दी उठा देना लेकिन तुमने कभी मुझे सोते हुए नहीं उठाया।

पर सच कहूं तो वो वाली नींद भी वही छूट गई, अब ऐसी नींद आती नहीं। आंखे ना जाने क्यों अलार्म बजने से पहले खुल जाती है।ना जाने किस बात की बेचैनी है। जब से वह घर छूटा है ना, खाना भी अच्छा नहीं लगता। पता नहीं तुम आटे में क्या मिलाया करती थी, वैसी रोटी कहीं खाने को ही नहीं मिलती। कई बार कोशिश की तुम्हारे जैसा स्वाद खाने में लाने की, लेकिन ना जाने क्यों अपने हाथ से बनाया हुआ पनीर भी लौकी जैसा लगता है। और हां, लौक़ी से याद आया तुम्हें याद है, जब जब घर पर लौकी बनती थी तो तुम मेरे लिए कोई और दूसरी सब्जी बना देती थी। मां, तुम कितने अच्छे से जानती थी कि मैं नहीं खाऊंगी, मुझे पसंद नहीं है। तुम्हें पता है मैं अब बड़ी हो गई हूं, अब लौकी बनती है, तो मैं आचार से रोटी खा लेते हूं और जब सवाल करती हूं खुद से की दूसरी सब्जी? तो इस दिले नादान को समझाती हूं कि यह पापा का घर नहीं है।

सब से लेट सो कर, सब से लेट उठती थी मैं। वैसे, सब से लेट तो यहां पर भी सोती हूं, लेकिन सुबह सबसे पहले उठने के लिए। अलार्म कई बार बजती है, कई बार मुझसे यह कहते हुए रूठ जाती है, कि तुम्हें मेरी क्या जरूरत है? मैं उसे कैसे समझाऊं कि मुझे उसकी जरूरत जागने के लिए नहीं, बल्कि कभी गलती से मीठे सपनों में खो कर आंख ना खुलने पर देर ना हो जाए इसलिए हैं।

mother

पतंग को देखकर आसमान में दूर तक उड़ जाने के ख्वाब देखने वाली मैं , ये फिजूल के मतलबी रिश्ते निभाते निभाते मशीन हो गई हूं। तुम्हें पता है मां, अब दिल दुखना ही भूल गया है। पहले कोई दिल दुखाता था, तो उसकी शक्ल ना देखने की कसम खाने वाली मैं, अब झूठा मुस्कुराना सीख गई हूं। दिल अंदर चीख रहा होता है और बाहर कोई सुन नहीं सकता, मेरी हंसी के पीछे इस मासूम की चीख कुछ भी नहीं है। जब तुम पास थी तो एक छोटी सी खरोच भी बहुत बड़ी चोट होती थी, लेकिन अब अक्सर खाना बनाते हुए हाथ जल जाते हैं मेरे, और कमाल देखो मां, तुम्हारी ये बेहतरीन अदाकारा, मुंह से उफ्फ भी नहीं करती।

आज बाजार में एक मां अपनी बच्ची को खिलौना दिला रही थी। बहुत खुश थी वह बच्ची खिलौने लेकर। लेकिन तभी एक ख्याल मन में आया कि आज जब मां पास है तो बाजार के सारे खिलौने अपने लगते हैं,लेकिन जब वही मां पास नहीं होती लोग उसी को खिलौना बना कर खेलते रहते हैं। कभी उसके दिल से और कभी उसके जज्बात से।
तुम बहुत याद आती हो, मां जब कभी सड़क पार करनी होती थी तो तुम और ज्यादा कसकर मेरा हाथ पकड़ लेती थी। आज जब कभी अकेले सड़क पार करती हूं , तो लगता है तुम यहीं हो मेरे साथ।

अब बड़ी हो गई हूं, मां अकेले सड़क पार करने के अलावा जिंदगी की मुश्किलों से लड़ना सीख गई हूं ,समझौते करना सीख गई हूं ,दिल में बहुत सारा दर्द लेकर हंसना सीख गई हूं और इनमें कोई बुराई भी नहीं है। जिंदगी का दूसरा नाम आजमाइश ही तो है। तुमने हर मोड़ पर मेरा साथ दिया है और आगे भी देती रहोगी, लेकिन सबको अकेले ही अपनी जिंदगी के अंधेरों से लड़ना पड़ता है। और मैं डटकर सारे अंधेरों का सामना करूंगी बस तुम ठीक वैसे ही मेरा हाथ पकड़े रखना जैसे तुम सड़क पार करते वक्त पकड़ा करती थी।
‘आई मिस यू मां’
‘आई लव यू लॉट’।

Importance of 'Chhath', the great festival of folk faith, from bathing to Arghya

लोकआस्था के महापर्व ‘छठ’ व्रत नहाय-खाय के साथ शुरू हो चुका है। 04 दिवसीय इस पर्व की शुरुआत 28 अक्टूबर को नहाय-खाय के साथ हुई, जो 31 अक्टूबर तक चलेगा। इसी सिलसिले में शनिवार के दिन ‘खरना’ पूजन है। खरना को लेकर छठ व्रती महिलाएं सारी तैयारी कर चुकी है जिसमें शुद्धता का विशेष ख्याल रखा जाता है। रविवार को यानी आज संध्या कालीन अर्घ्य और सोमवार उदयीमान भगवान भास्कर को अर्घ देने के साथ छठ व्रत का समापन हो जाएगा। आइए अब जानते हैं कि छठ में खरना का क्या होता है और इसका क्या महत्व है ?

खरना में क्या होता है ?

छठ का दूसरा दिन खरना के रूप में मनाते हैं। इस अवसर पर छठी मैया को खुश करने के लिए हर व्रती प्रसाद में चार चीजें बनाती हैं। इस दिन व्रती सुबह से निर्जला व्रत रखकर शाम को मिट्टी के चूल्हे पर गुड़ और चावल की खीर बनाती है। खीर के साथ रोटी भी बनती है, रोटी और खीर के साथ मौसमी फल केला जरूर शामिल किया जाता है और मिठाई के साथ एक केले के पत्ते पर रखकर छठ माता को चढ़ाया जाता है। इसके बाद व्रती खुद भी इस प्रसाद को ग्रहण करके परिवार के बाकी लोगों को भी प्रसाद बांटती है।

यह प्रसाद चूल्हें पर आम की लकड़ियों को जलाकर ही बनाया जाता है। वहीं रविवार को व्रती संध्या अर्घ्य के लिए नहर पर जाती हैं। इस वर्ष डूबते सूर्य को दिया जाने वाला संध्या अर्घ्य 30 अक्टूबर दिन रविवार को है, जो कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष की षष्ठी तिथि को होता है। इसी दिन छठी मैया की विशेष पूजा भी होती है। इसी प्रकार ऊषा अर्घ्य और पारण- इस वर्ष छठ पर्व में ऊषा अर्घ्य और पारण 31 अक्टूबर दिन गुरुवार को है, जो कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष की सप्तमी तिथि को होता है।

खरना का है खास महत्व ?

छठ में खरना का विशेष महत्व है। खरना का अर्थ है शुद्धिकरण। शुद्धिकरण केवल तन नहीं, बल्कि मन का भी होता है। इसलिए खरना के दिन केवल रात में भोजन करके छठ के लिए तन-मन को व्रती शुद्ध करते हैं। साथ ही जो प्रसाद बनता है, उसे नए चूल्हे पर बनाया जाता है। खीर का प्रसाद महिलाएं अपने हाथों से ही पकाती हैं। इस दिन महिलाएं सिर्फ एक ही समय भोजन करती हैं। आम तौर पर इस दिन दिन सूर्यास्त के बाद व्रती प्रसाद ग्रहण करती हैं। खरना के बाद व्रती 36 घंटे का व्रत रखकर सप्तमी को सुबह अर्घ्य देती हैं।

छठ पूजा में कब-कब क्या होता है ?

छठ महापर्व की लोकप्रियता आज देश-विदेश तक देखने को मिलती है। छठ पूजा का व्रत कठिन व्रतों में एक होता है। इसमें पूरे चार दिनों तक व्रत के नियमों का पालन करना पड़ता है और व्रती पूरे 36 घंटे का निर्जला व्रत रखती हैं। छठ पूजा में नहाय खाय, खरना, अस्ताचलगामी अर्घ्य और उषा अर्घ्य का विशेष महत्व होता है। छठवर्त के पहला दिन- नहाय खाय 28 अक्टूबर शुक्रवार, दूसरा दिन- खरना 29 अक्टूबर शनिवार, तीसरा दिन- अस्ताचलगामी सूर्य को अर्घ्य 30 अक्टूबर रविवार तथा आखिरी व चौथे दिन- उदीयमान सूर्य को अर्घ्य 31 अक्टूबर सोमवार को संपन्न होगा।

यहां है पूरी प्रक्रिया

कार्तिक शुक्ल पक्ष की चतुर्थी को स्नानादि से निवृत होने के बाद ही भोजन ग्रहण किया जाता है। इसे नहाय खाय भी कहा जाता है। इस दिन कद्दू भात का प्रसाद ग्रहण किया जाता है। कार्तिक शुक्ल पंचमी के दिन नदी या तालाब में पूजा कर भगवान सूर्य की उपासना की जाती है। संध्या में खरना में खीर और बिना नमक की पूरी इत्यादि को प्रसाद के रूप में ग्रहण कर खरना के बाद निर्जला व्रत शुरू हो जाता है। कार्तिक शुक्ल षष्ठी के दिन भी व्रती उपवास रहती है और शाम में किसी नदी या तालाब में जाकर डूबते सूर्य को अर्घ्य दिया जाता है। यह अर्घ्य एक बांस के सूप में फल, ठेकुआ प्रसाद, ईख, नारियल इत्यादि को रखकर किया जाता है। कार्तिक शुक्ल सप्तमी सबेरे को उदीयमान सूर्य को अर्घ्य दिया जाता है। इस दिन छठ व्रत संपन्न हो जाता है और व्रती व्रत का पारण करती हैं।

श्रद्धा और आस्था से जुड़ा है छठ पर्व

छठ पर्व श्रद्धा और आस्था से जुड़ा होता है। मान्यता है कि जो व्यक्ति इस व्रत को पूरी निष्ठा और श्रद्धा से करता है उसकी मनोकामनाएं पूरी होती है। छठ व्रत, सुहाग, संतान, सुख, सौभाग्य और सुखमय जीवन की कामना के लिए किया जाता है। मान्यता है कि आप इस व्रत में जितनी श्रद्धा से नियमों और शुद्धता का पालन करेंगे छठी मईया आपसे उतनी ही प्रसन्न होंगी।

How can you take care of your wife or girlfriend during periods?

इंडिया में पीरियड्स (Periods) का सब्जेक्ट वर्षों से वर्जित रहा है। पर इन दिनों पुरुष उन मुद्दों के प्रति ज्यादा जागरुक हो गए हैं, जिनका सामना महिलाएं पीरियड्स के वक्त करती हैं। इस सब्जेक्ट के बारे में नॉलेज की कमी है, जो पुरुषों को इस मुद्दे से और ज्यादा अनजान रखती है।

इसलिए आज हमने फैसला किया है कि हम पुरुषों को शिक्षित करने और जानकारी देने की पहल करेंगे कि पीरियड्स के दौरान महिलाएं कैसा महसूस करती हैं और अपनी पत्नी या गर्लफ्रेंड का पीरियड्स के दौरान आप कैसे उनका ध्यान रख सकते हैं।

Reddit पर हाल ही में इस विषय के बारे में भी चर्चा हुई थी, जहां एक Reddit यूजर ने पूछा था कि वह पीरियड्स के दौरान अपनी गलफ्रेंड को आराम देने के लिए क्या कर सकते हैं। इस पोस्ट को महिलाओं (और समान रूप से पुरुषों) से सैकड़ों प्रतिक्रियाएं मिलीं, जिन्होंने अपने विचारों को शेयर किया और बताया कि कैसे एक पुरुष पीरियड्स के दौरान अपनी गलफ्रेंड की देखभाल कर सकता है।

पीरियड्स के दौरान अक्सर महिलाओं के साथ क्या होता है-

इस प्रश्न के दो जवाब हैं। एक है मेंस्ट्रुअल साइकिल के दौरान एक महिला के शरीर के अंदर होने वाली शारीरिक चीजें और दूसरी है उस पर पड़ने वाले मनोवैज्ञानिक प्रभाव।

पीरियड्स किसी महिला के मूड को कैसे प्रभावित करते हैं-

जब एक महिला को पीरियड होते हैं, तो वह बहुत सारे हार्मोनल परिवर्तनों से गुजरती है जो उसके मूड और व्यवहार में उतार-चढ़ाव का कारण बनते हैं। यह सामान्य और स्वाभाविक है और लगभग सभी महिलाओं के साथ होता है। कुछ महिलाओं को चिंता, सिरदर्द और सुस्ती की भावना हो सकती है। जहां ज्यादातर समय ये लक्षण हल्के होते हैं, वहीं कुछ मामलों में ये गंभीर भी हो सकते हैं। ये परिवर्तन किसी भी महिला के नियंत्रण में नहीं हैं और हमें एक पार्टनर के तौर पर इसे समझने और इन दिनों के दौरान सहज रहने के लिए उनका समर्थन करने की आवश्यकता है।

मासिक धर्म के दौरान एक महिला को महसूस होने वाले मनोवैज्ञानिक लक्षण

  • मूड स्विंग होना
  • बहुत खुश या नियंत्रण से बाहर महसूस करना
  • बिना वजह जाने रोना
  • अधिकांश गतिविधियों में रुचि न होना
  • अचानक उदासी
  • रिजेक्शन के प्रति संवेदनशीलता
  • समाज से दूरी बनाना
  • चिंता
  • उदास मन
  • चिड़चिड़ापन

एक पुरुष अपनी प्रमिका या पत्नी को मासिक धर्म के दौरान आराम देने के लिए क्या कर सकता है?

हम आपको कुछ चीजें बताने जा रहे हैं जो इस दौरान आप कर सकते हैं या अपनी साथी से कह सकते हैं-

1. उन्हें बैक मसाज या हल्का मसाज दें

How can you take care of your wife or girlfriend during periods?

पीठ के निचले हिस्से पर हल्का मसाज देने से उसे आराम मिलेगा और थोड़ा दर्द कम करने में मदद मिलेगी। बस आपको अपनी मसाज स्किल्स दिखानी है, जो आप केवल कुछ YouTube वीडियो देखकर सीख सकते हैं।

2. उसके लिए गर्म पानी की बोतलें रखें

How can you take care of your wife or girlfriend during periods?

अगर आप अपनी पत्नी या प्रेमिका को उसके पीरियड्स के दौरान सहज बनाना चाहते हैं, तो सुनिश्चित करें कि आप उसके लिए रसोई में गर्म पानी की कुछ बोतलें रख दें। दिन भर गुनगुना पानी पीने से उसे हाइड्रेटेड रहने और तरोताजा महसूस करने में मदद मिलेगी।

3. फिजिकल अफेक्शन दिखाएं पर सेक्स की जिद ना करें

Physical Affection

आपको उनके पीरियड्स के दौरान सेक्स करने से बचना चाहिए, क्योंकि इससे उन्हें असहजता महसूस होगी। इसके बजाय हल्का फिजिकल अफेक्शन दिखाएं, जैसे गले लगना या किस करना। सेक्स या किसी अन्य तरह के फोरप्ले पर जोर ना दें। आपको उन्हें ना सिर्फ मानसिक रूप से बल्कि शारीरिक रूप से भी अपना स्पेस देने की जरूरत है।

4. फिल्म देखें और चिल करें

Study on Relationship

कभी-कभी, कुछ न करने से सबसे ज्यादा मदद मिलती है। पीरियड्स के दौरान अपने साथी को आराम देने का एक सबसे अच्छा तरीका है कि आप बस एक ऐसी फिल्म या टीवी सीरीज़ देख डालें, जिसे आप दोनों पसंद करते हैं और एक साथ देखते हैं। यह काम उसे दो तरह से मदद करेगा। एक यह है कि यह उसे आराम देगा, क्योंकि उसे इधर-उधर नहीं जाना है या कोई ​फिजिकल एक्टिविटी नहीं करनी है। दूसरा, फिल्म देखने में व्यस्त होने के कारण वह अपने दर्द के बारे में सोचना बंद कर देगी।

5. चॉकलेट, आइसक्रीम और केक दें

If partner ignores then get their 'previous love' like this

आप जब आप किसी को खुश करना चाहते हैं, तो आप जो सबसे आसान काम कर सकते हैं, वह है उनके लिए चॉकलेट, आइसक्रीम, कॉफी, केक आदि उनके पसंदीदा चीज लाना। यह उनके मूड को ठीक करने में मदद करेगा।

6. उनके साथ बहस या झगड़ा ना करें

If your girlfriend is angry then never say these five things..

पीरियड्स के दौरान एक महिला को तनाव मुक्त रहने की जरूरत होती है और आप यह सुनिश्चित कर सकते हैं। अपने साथी के साथ वाद-विवाद या छोटी-मोटी झड़पें करना उसकी स्थिति को और खराब कर सकता है। इसलिए ऐसा करने से बचें।

7. उनके लिए ब्रेकफास्ट, लंच या डिनर बनाएं

Know 10 essential tips to cook delicious food

अगर आपकी पत्नी आमतौर पर आपके लिए खाना बनाती है, तो यही वह समय है जब आपको किचन संभालने की आवश्यकता है। उससे खाना पकाने की अपेक्षा न करें, इसके बजाय, उसके लिए अच्छा नाश्ता बनाएं। बाहर से खाना मंगवाना एक विकल्प है, लेकिन अगर आप इसे खुद करते हैं, तो आपको कुछ बोनस ब्राउनी पॉइंट मिलेंगे।

8. उसके साथ नॉर्मल बर्ताव करें

Study on Relationship

कुछ महिलाएं अकेले रहना पसंद करती हैं और वे पुरुषों से उन्हें सहज महसूस कराने के लिए कुछ भी करने की उम्मीद नहीं करती हैं। कभी-कभी, उन्हें खुश करने के लिए बहुत अधिक प्रयास करना भी भारी पड़ सकता है। इसलिए बेहतर है कि आप सामान्य रूप से व्यवहार करें और अपनी दिन-प्रतिदिन की गतिविधियों को जारी रखें, न कि उसे उसके पीरियड्स के बारे में याद दिलाएं।

I have learned to laugh futilely, smiling at lies

मां, वह घर छूटे अरसा हो गया है और वैसे ही वह बेफ़िक्री से सोए हुए अरसा हो गया। तुम्हें याद है मैं हमेशा तुम्हें कह कर सोती थी कि मां मुझे जल्दी उठा देना, लेकिन तुमने कभी मुझे सोते हुए नहीं उठाया। लेकिन सच कहूं तो वो वाली नींद भी वही छूट गई, अब ऐसी नींद आती नहीं। आंखे ना जाने क्यों अलार्म बजने से पहले खुल जाती है। ना जाने किस बात की बेचैनी है। जब से वह घर छूटा है ना, तब से खाना भी अच्छा नहीं लगता ।

पता नहीं तुम आटे में क्या मिलाया करती थी, वैसी रोटी कहीं खाने को ही नहीं मिलती।
कई बार कोशिश की तुम्हारे जैसा स्वाद खाने में लाने की, लेकिन ना जाने क्यों अपने हाथ से बनाया हुआ पनीर भी लौकी जैसा लगता है। और हां, लौक़ी से याद आया तुम्हें याद है, जब जब घर पर लौकी बनती थी तो तुम मेरे लिए कोई और दूसरी सब्जी बना देती थी। मां, तुम कितने अच्छे से जानती थी ना, कि मैं नहीं खाऊंगी, मुझे पसंद नहीं है। तुम्हें पता है मैं अब बड़ी हो गई हूं, अब लौकी बनती है, तो मैं आचार से रोटी खा लेते हूं और जब सवाल करती हूं खुद से कि दूसरी सब्जी?
तो इस दिल-ए-नादान को समझाती हूं- यह पापा का घर नहीं है!

सब से लेट सो कर, सब से लेट उठती थी मैं। वैसे सब से लेट तो यहां पर भी सोती हूं, लेकिन सुबह सबसे पहले उठने के लिए।
अलार्म कई बार बजती है, कई बार मुझसे यह कहते हुए रूठ जाती है कि तुम्हें मेरी क्या जरूरत है? मैं उसे कैसे समझाऊं कि मुझे उसकी जरूरत जागने के लिए नहीं, बल्कि कभी गलती से मीठे सपनों में खो कर आंख ना खुलने पर देर ना हो जाए इसलिए अलार्म लगाती हूं।

I have learned to laugh futilely, smiling at lies

पतंग को देखकर आसमान में दूर तक उड़ जाने के ख्वाब देखने वाली मैं , ये फिजूल के मतलबी रिश्ते निभाते निभाते मशीन हो गई हूं ।
तुम्हें पता है मां, अब दिल दुख होना भी भूल गया है। पहले कोई दिल दुखाता था तो उसकी शक्ल ना देखने की कसम खाने वाली मैं, अब झूठा मुस्कुराना सीख गई हूं। दिल अंदर चीख रहा होता है और बाहर कोई सुन नहीं सकता, मेरी हंसी के पीछे इस मासूम की चीख कुछ भी नहीं है। जब तुम पास थी तो एक छोटी सी खरोच भी बहुत बड़ी चोट होती थी लेकिन अब अक्सर खाना बनाते हुए हाथ जल जाते हैं मेरे, और कमाल देखो मां, तुम्हारी ये बेहतरीन अदाकारा बेटी, मुंह से उफ्फ भी नहीं निकालती।

आज बाजार में एक मां अपनी बच्ची को खिलौना दिला रही थी। बहुत खुश थी वह बच्ची खिलौने लेकर। लेकिन तभी एक ख्याल मन में आया कि आज जब मां पास है तो बाजार के सारे खिलौने अपने लगते हैं, लेकिन जब वही मां पास नहीं होती लोग उसी को खिलौना बना कर खेलते रहते हैं। कभी उसके दिल से और कभी उसके जज्बात से। तुम बहुत याद आती हो मां, जब कभी सड़क पार करनी होती थी तो तुम और ज्यादा कसकर मेरा हाथ पकड़ लेती थी। आज जब कभी अकेले सड़क पार करती हूं , तो लगता है तुम यहीं कहीं मेरे साथ हो।

अब बड़ी हो गई हूं, मां अकेले सड़क पार करने के अलावा जिंदगी की मुश्किलों से लड़ना सीख गई हूं, समझौते करना सीख गई हूं, दिल में बहुत सारा दर्द लेकर हंसना सीख गई हूं और इनमें कोई बुराई भी नहीं है। जिंदगी का दूसरा नाम आजमाइश ही तो है। तुमने हर मोड़ पर मेरा साथ दिया है और आगे भी देती रहोगी, लेकिन सबको अकेले ही अपनी जिंदगी के अंधेरों से लड़ना पड़ता है। और मैं डटकर सारे अंधेरों का सामना करूंगी बस तुम ठीक वैसे ही मेरा हाथ पकड़े रखना जैसे तुम सड़क पार करते वक्त पकड़ती थी।
आई मिस यू मां
आई लव यू लॉट

Because not everyone is big hearted.

कुछ लोगों को जिंदगी से बहुत शिकायतें होती हैं। हर इन्सान को यही लगता है जैसे दुनिया की सारी मुश्किलें भगवान ने उन्हीं की झोली में डाल दी है लेकिन क्या कभी आपने खुद उस लम्हें को महसूस किया है, जब कोई छोटा बच्चा खिलौनों की दुकान के बाहर खड़ा होकर उन्हें ऐसे देख रहा होता है, जैसे कोई जादू है और सच में जादू ही तो है उसके लिए।

वहीं, जादू जिसे वह देख तो सकता है, लेकिन अपने नन्हें हाथों से महसूस नहीं कर सकता। सच में कितना भयानक जोड़ है ना ( गरीबी + बचपन)!

कोई भी बड़ा समझदार इंसान अपने हालातों से समझौता कर सकता है, और हालातों को बदलने के लिए कोशिश करने का भी संकल्प ले सकता है, लेकिन वह बच्चा जिसने अभी दुनिया से अपना रिश्ता नया नया शुरू किया है सोचें उसके लिए कैसा होता होगा।

एक छोटा बच्चा जो मेले के दरवाजे पर खड़ा है और उसके पास अंदर जाने के लिए पैसे नहीं है। हम और आप शायद सोच भी नहीं सकते, कि किस तरह वो मासूम अपने दिल को समझाता होगा। वह कढ़ाई में बनती गरम गरम जलेबी उसे कैसे ललचा रही होंगी और हर हवा के झोंके के साथ जब खुशबू आ रही होती होगी तो उसके कानों में यही कहकर जाती होगी कि तुम सिर्फ महसूस करो।

Because not everyone is big hearted.

झूले पर झूलते वह बच्चे जो इस भयानक जोड़ गरीबी और बचपन का हिस्सा नहीं है जब जब वह झूला झूलते हुए खिलखिलाते है, तो किस कदर वह नन्ना दिल मचल जाता है, वह ढेर सारे झूले झूलने को। और फिर इन सब से 01 मिनट के लिए ध्यान हटा तो वह आइसक्रीम वाले अंकल घंटी बजा देते हैं। वो वाला एक लम्हा इतना भारी हो जाता है कि वह बच्चा सोचने लगता है कि काश उसके पास भी पैसे होते तो वह भी अपने सपनों के महल सजा पाता। बस एक यही लम्हा उसे मजबूर कर देता है, इतना मजबूर कि दिल की सुनना उसके लिए जरूरत बन जाता है। और फिर दिल को मनाने का जो सिलसिला शुरू होता है, वह उसे लोगों से मांगने पर भी मजबूर कर देता है। जब कोई अन्य हाथ में आइसक्रीम लेकर बाहर आता है तो उसे बस यही समझ आता है कि मायूस आंखों से उसे देखने की बजाय उसके आगे हाथ बढ़ाकर मांग ले। और उसके बाद फिर किसी का झूठा भी मिल जाए तो क्या फर्क पड़ता है।

इसी के साथ दुत्कार भी मिलती है, क्योंकि हर इन्सान बड़ा दिल वाला नहीं होता। कुछ छोटे दिल के लोग यह कभी नहीं समझ सकते कि एक छोटे बच्चे के लिए दिल को समझाना कितना मुश्किल होता है। आपकी दिलवाई हुई 10 रुपये की चीज उसे अंदर से कितना खुश कर जाएगी यह शब्दों में बयां नहीं हो सकता। त्योहारों के समय पर इस तरह के बच्चों के लिए शाहा रात में चमकते तारों के जैसे हो आप। इस समय उनके लिए उनके अंधेरों की कालिख में रोशनदान से छनता उजाला हैं आप।

मैं इन बच्चों को भीख या पैसे देने का समर्थन बिल्कुल नहीं करती, लेकिन इस दिवाली किसी एक बच्चे के चेहरे पर आपकी वजह से मुस्कान आ जाए तो समझ ही आपको भगवान की तरफ से दिवाली का तोहफा मिल गया है। किसी भूखे बच्चे को खाना खिलाइए, किसी को कपड़े दिला दीजिए, किसी बच्चे को जूते दिला दीजिए, किसी को उसकी पसंदीदा आइसक्रीम खिला कर, उसे यह समझा सकते हैं कि आप उन्हीं के जैसे हैं। हां, बस भगवान ने आपको थोड़ा ज्यादा इसलिए दिया कि उनके त्योहारों को आप रोशन कर सकें। कम से कम त्योहारों पर किसी की आंखों में आंसू ना हो।

Relationship

बिजी लाइफ के कारण आजकल पति-पत्नी या लव रिलेशनशिप में एक दूसरे पर ज्यादा फोकस नहीं दे पाते हैं, जिससे उनकी जिंदगी में कई तरह की समस्या शुरू हो जाती हैं। कई बार देखा गया है कि वक्त बीतने के साथ आपसी रिश्तों में बदलाव देखने को मिलता है, जैसे- पार्टनर का Ignore करना, साथ में कम समय बिताना, आपस में बातचीत ना करना, ऐसे में रिश्तों में बोरियत आने लगती है और बात लड़ाई-झगड़े तक पहुंच जाती है।

क्या आपके साख भी इस तरह की समस्या है और आप भी अपने पार्टनर का अटेंशन पाना चाहते हैं तो इन टिप्स को फॉलो करें। इससे आपके पार्टनर को आपकी आदत हो जाएगी और एक पल भी दूर नहीं जा पाएगा।

फोन को कहें नो..

दिनभर के काम के बाद जब आप रात में बेड पर जा रहे हैं तो सबसे पहले अपने फोन को बाय-बाय कह दें, क्योंकि सोशल मीडिया और मोबाइल की लत से कई बार साथी को समय नहीं दे पाते और इग्नोर करते हैं। फोन ना करने पर आप एक-दूसरे से बात करेंगे और अपने दिल का हाल शेयर करेंगे। इससे आपके बीच दूरियां नहीं बढ़ेंगी और साथ में अच्छा वक्त बिताने से प्यार भी बढ़ेगा।

कुछ ऐसा करें कि पार्टनर इग्नोर न कर पाए

अपने बिजी लाइफस्टाइ से थोड़ा समय निकालें और वो काम करें जो आपके पार्टनर को अच्छा लगता है। जिससे उसके चेहरे पर मुस्कुराहत आए। ऐसा करने से उसे अच्छा लगेगा और वह आपकी ओर आकर्षित होगा और अच्छा टाइम आपको देगा, जिससे रिलेशनशिप में गैप नहीं आएगा और वो मजबूत होता चला जाएगा।

प्लान बनाइए और फिर खूब घूमे

Relationship

अगर आप चाहते हैं कि आपका पार्टनर आपको ज्यादा से ज्यादा अटेंशन दे, उस पर आपके प्यार का जादू चले तो भागदौड़ भरी जिंदगी में थोड़ा सा रुकिए. एक ट्रैवल लिस्ट बनाइए और उन जगहों पर घूमने जाइए, जो आपके साथी को पसंद हो। ऐसे में बाहर होने से आप एक-दूसरे को ज्यादा से ज्यादा समय दे पाएंगे और अच्छा-खासा समय मिलने से रिलेशनशिप भी बेहतर हो जाएगा.

इग्नोर के बदले इग्नोर करना छोड़े

आप अपने पार्टनर को समय देकर उसका अटेंशन पा सकते हैं। कई बार देखा जाता है कि अगर पार्टनर इग्नोर कर रहा है तो आप भी उसे इग्नोर करने लगते हैं। यह सही नहीं होता। इससे बात बनने की बजाय और भी बिगड़ सकती है। इसलिए बात बंद करने की बजाय पार्टनर के करीब जाएं और अपनापन दिखाएं। इससे रिलेशनशिप में गैप नहीं आ पाएगा, रिश्ता और भी बेहतर हो जाएगा।

थोड़ा मिस भी करना जरूरी

हर समय पार्टनर के साथ रहना, उनकी हर बात को पूरी करना बिल्कुल अच्छी बात है लेकिन कभी-कभी ऐसा भी होना चाहिए जब आप उनसे दूर हैं और वे आपको मिस करें। इससे आपको उनका अटेंशन मिलेगा और प्यार भी बढ़ेगा पर इस बात का ध्यान रखना जरूरी है कि ज्यादा देर तक बात बंद ना हो या फिर अधिक दूरी भी ना बढ़ें। साथी के थोड़ा मिस करने पर फौरन उनसे बात करें और उनके पास पहुंच जाएं, इससे अटेंशन तो बढ़ेगी ही साथ-साथ आप दोनों के आपसी संबंध में मिठास आएगी।

Mountain Man

कभी- कभी इंसान का हौसला और उसका जुनून उसे वह करने पर मजबूर कर देता है जो उसने करने का कभी सोचा भी नहीं होता और ना ही सोच सकता है कि इसका क्या परिणाम होगा। परिणाम रूपी नदी को भूलकर वह सिर्फ अपनी प्यास पर फोकस करने लगता है, और फिर वह होता है जिसकी उसने कल्पना नहीं की होती। ऐसा ही हुआ भारत के ‘माउंटेन मैन’ के साथ। जी हां, माउंटेन मैन यानी दशरथ मांझी।।

दशरथ मांझी वह इंसान हैं जिन्होंने एक छैनी और हथौड़ी की मदद से अपने हौसलों की उड़ान को मंजिल दी है। दरअसल, हुआ यूं कि दशरथ मांझी एक ऐसे गांव से ताल्लुक रखते हैं , जहां इंसान को अपनी छोटी से छोटी जरूरत को पूरा करने के लिए एक पहाड़ को पार करना पड़ता था। इसी वजह से एक बार दशरथ मांझी जब अपने काम पर गए थे, तो उनकी पत्नी उनके लिए दोपहर का भोजन लेकर जा रही थी, तभी उस पहाड़ को पार करते हुए उनका पैर फिसल गया और वह गिर गई। इसके पश्चात समय पर इलाज ना मिलने के कारण उनकी मौत हो गई । इस हादसे का दशरथ मांझी पर बहुत गहरा असर हुआ और उन्होंने ठान लिया कि जिस तरह उस विशालकाय पहाड़ ने उनकी पत्नी के जीवन को खत्म कर दिया उसी तरह वह भी उसको खत्म कर देंगे।

छैनी और हथौड़ी से सिर्फ पहाड़ के गुरूर को जमीन में मिलाया

फिर इन्होंने उस पहाड़ को काटकर रास्ता बनाने का संकल्प लिया। एक छोटी सी छैनी और हथौड़ी के साथ उन्होंने पहाड़ काटना शुरू किया। गांव वालों के लिए यह केवल एक मूर्खता भरा फैसला था लेकिन दशरथ मांझी कुछ अलग ही सोच बैठे थे। हालांकि, गांव वालों ने उनको पत्नी को मौत के सदमे के कारण पागल करार दे दिया था लेकिन इस शख्स ने कभी भी किसी की परवाह नहीं की और लगातार 22 साल इस काम में लगे रहे और उन्होंने कर दिखाया कि अगर हौसले बुलंद हो तो एक पहाड़ को काटकर 360 फुट लंबा, 25 फीट गहरा और 30 फीट चौड़ा रास्ता बनाना मुश्किल काम नहीं है।

रास्ते का नाम पड़ा- 

उनके द्वारा बनाए गए रास्ते का नाम भी उन्हीं के नाम पर रखा गया। दशरथ मांझी के फैसले का भले ही पहले मजाक उड़ाया गया हो लेकिन यह भी हकीकत है कि उनकी कोशिश ने जालौर के लोगों का जीवन सरल बना दिया। जिस तरह दशरथ मांझी ने दृढ़ संकल्प को जीवन का आधार साबित किया, उसी तरह यह भी साबित किया कि किसी के प्रेम को अर्थ देने के लिए ताजमहल बनाना जरूरी नहीं है उनकी तरह रास्ते की बाधाओं को दूर करना भी प्रेम और समर्पण को दर्शाता है।।

Karwa Chauth: Is this day Karwa Chauth

हिंदू पंचांग के मुताबिक कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि को करवा चौथ (Karwa Chauth) व्रत रखा जाता है। इस दिन सुहागिन महिलाएं अपने पति की लंबी उम्र की दुआ के लिए व्रत रखती हैं। हिंदू धर्म में करवा चौथ व्रत का विशेष महत्व है। करवा चौथ व्रत को सभी व्रतों में थोड़ा कठिन माना जाता है। यह व्रत दिनभर निर्जला रखा जाता है। करवा चौथ व्रत में महिलाएं पानी तक नहीं पीती हैं। इसमें चंद्र दर्शन के बाद व्रत का पारण किया जाता है। लोगों में मान्यता है कि करवा चौथ व्रत करने से पति की लंबी आयु प्राप्त होती है तथा वैवाहिक जीवन खुशहाल रहता है।

कब है करवा चौथ ?

हिंदू पंचांग के अनुसार कार्तिक महीने के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी को रखा जाता है। इस साल यह तिथि 13 अक्टूबर को रात 01 बजकर, 59 मिनट से प्रारंभ होगी, जो कि 14 अक्टूबर को सुबह 03 बजकर, 08 मिनट तक रहेगी। इस वर्ष करवा चौथ व्रत 13 अक्टूबर को रखा जाएगा।

जानें करवा चौथ 2022 शुभ मुहूर्त

करवा चौथ पर अमृत काल शाम 04 बजकर, 08 मिनट से शाम 05 बजकर 50 मिनट तक रहेगा। इसके बाद अभिजीत मुहूर्त सुबह 11 बजकर, 21 मिनट से दोपहर 12 बजकर, 07 मिनट तक रहेगा।

ये है करवा चौथ पूजा की विधि

सुबह जल्दी उठकर स्नान कर लें।
स्नान करने के बाद मंदिर की साफ- सफाई कर ज्योत जलाएं।
देवी- देवताओं की पूजा- अर्चना करें।
निर्जला व्रत का संकल्प लें।
इस पावन दिन शिव परिवार की पूजा- अर्चना की जाती है।
सबसे पहले भगवान गणेश की पूजा करें। किसी भी शुभ कार्य से पहले भगवान गणेश की पूजा की जाती है।
माता पार्वती, भगवान शिव और भगवान कार्तिकेय की पूजा करें।
करवा चौथ के व्रत में चंद्रमा की पूजा की जाती है।
चंद्र दर्शन के बाद पति को छलनी से देखा जाता है।
फिर पति द्वारा पत्नी को पानी पिलाकर व्रत तोड़ा जाता है।

करवा चौथ व्रत में इस्तेमाल होने वाली सामग्री

चंदन, शहद, अगरबत्ती, पुष्प, कच्चा दूध, शक्कर, शुद्ध घी, दही, मिठाई, गंगाजल, अक्षत (चावल), मिट्टी का टोंटीदार करवा व ढक्कन, दीपक, सिंदूर, मेहंदी, महावर, कंघा, बिंदी, चुनरी, चूड़ी, बिछुआ, रुई, कपूर, गेहूं, शक्कर का बूरा, हल्दी, जल का लोटा, गौरी बनाने के लिए पीली मिट्टी, लकड़ी का आसन, चलनी, आठ पूरियों की अठावरी, हलुआ और दक्षिणा (दान) के लिए पैसे आदि।

7 common life mistakes that can ruin your sex life

हर रिश्ते में सुनहरा टाइम हमेशा नहीं रहता लेकिन समय के साथ यह तनाव और कुछ समस्याओं को जन्म देता है, लाइफ के परिणामस्वरूप होने वाली शारीरिक और इमोशनल अंतरंगता को नकारा नहीं जा सकता है। कपल्स के लिए स्वास्थ्य यौन जीवन (Sex Life) को बनाए रखना और भी अहम हो जाता है। अगर आपको लगता है कि आप अपने रिलेशन में समस्याओं से गुजर रहे हैं तो यह जानने के लिए नीचे पढ़ें कि क्या सही नहीं हो रहा है।

खुशहाल रिश्ते क्यों नहीं बना पा रहे हैं आप

आपस में बात कम होना

बात करना आपको पार्टनर के साथ खुलने का एक माध्यम होता है। यह आपको एक ही वक्त असुरक्षित और सुरक्षित महसूस कराएगा। अगर आपको पता नहीं है कि आपके साथी के साथ क्या हो रहा है तो संभावना है कि आप बेडरूम के भीतर और बाहर उनसे डिस्कनेक्ट हो जाएंगे। आप सिर्फ शारीरिक सुख की तलाश में ऑटोमेटन नहीं हैं, व्यक्तिगत स्तर पर अपने साथी से जुड़ें।

टेक्नोलॉजी

हम आपके इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों के बारे में बात कर रहे हैं। हमारा दिमाग किसी भी तकनीकी संकेत पर प्रतिक्रिया करने का आदी हो गया है, चाहे वह कोई नया नोटिफिकेशन हो या कोई अहम कॉल। अपने प्यार के ऊंचाइयों पर उपकरणों को लाने से आपकी एकाग्रता चंचल हो जाएगी और आप केंद्रित नहीं रह पाएंगे।

तनाव को ना बढ़ने दें

हम सभी को मालूम हैं कि सेक्स एक अद्भुत स्ट्रेस बस्टर है पर अगर दूसरे तरीके से लिया जाए, तो तनाव आपके यौन जीवन को नुकसान पहुंचा सकता है और आपकी सेक्स करने की इच्छा को खत्म कर सकता है। लाखों पुरुषों के लिए स्तंभन दोष एक तनाव प्रतिक्रिया से ज्यादा कुछ नहीं है जो एक क्लासिक मन-शरीर की घटना को ट्रिगर करता है। यहां तक कि महिलाओं के लिए भी तनाव एक नकारात्मक संकेतक बन जाता है और उन्हें यौन सुख प्राप्त करने से रोकता है।

विश्वास की कमी

हफ्तों पहले हुई अनसुलझी लड़ाई आपके यौन संबंधों के लिए हानिकारक हो सकती है। यौन एक अंतरंग कार्य है जो आपके साथी में आपके विश्वास की मांग करता है. अगर आप स्वयं समस्या का समाधान नहीं कर सकते हैं तो आपको किसी तीसरे व्यक्ति से सहायता की जरूरत हो सकती है, लेकिन अनसुलझे मुद्दों को अपने भीतर न जाने दें, वे आपके यौन जीवन का दम घोंट देंगे.

फिटनेस है जरूरी

नियमित एरोबिक व्यायाम ब्लड फ्लो को बनाए रखते हैं और धमनियों को नाइट्रिक ऑक्साइड का उत्पादन करते हैं, जो यौन उत्तेजना की कुंजी है। जो पुरुष और महिलाएं व्यायाम नहीं करते हैं, उनमें उत्तेजना संबंधी समस्याओं का अनुभव होने की संभावना अधिक होती है। साथ ही, फिट रहने से सकारात्मक आत्म-सम्मान पैदा होता है, जो आपकी सेक्स ड्राइव को भी बढ़ा सकता है।

विश्वास की कमी

7 common life mistakes that can ruin your sex life

हफ्तों पहले हुई अनसुलझी लड़ाई आपके यौन संबंधों के लिए घातक हो सकती है। यौन एक अंतरंग कार्य है जो आपके साथी में आपके विश्वास की मांग करता है. अगर आप स्वयं समस्या का समाधान नहीं कर सकते हैं तो आपको किसी तीसरे व्यक्ति से सहायता की जरूरत हो सकती है पर अनसुलझे मुद्दों को अपने भीतर न जाने दें, वे आपके यौन जीवन का दम घोंट देंगे।

ज्यादा सामान्य होना बंद करना होगा

हर किसी का एक अलग पक्ष होता है। आपको बस इतना धैर्य रखना होगा कि आपका साथी इसे प्रकट कर सके. अगर आप हमेशा बेसिक रूटीन से चिपके रहते हैं तो यह उबाऊ हो जाएगा. कभी-कभी आपको अपने कम्फर्ट जोन से बाहर निकलना पड़ता है. कुछ नए विकल्पों को आजमाने में संकोच न करें. एडवेंचर फैक्टर को चालू रखें और यौन जीवन को और दिलचस्प बनाने के नए तरीके खोजें.

अत्यधिक मेडिसीन ना लें

कई दवाएं आपकी सेक्स ड्राइव पर सीधा हानिकारक प्रभाव डालती हैं। नए शोध से पता चला है कि जो पुरुष ड्रग्स लेते हैं, उनका यौन जीवन अच्छा नहीं रहता है, भले ही उन्होंने उन्हें लेना बंद कर दिया हो।