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Tag Archives: Ladies Problem

Breast Feeding

अक्सर लड़कियां अपने ब्रेस्ट साइज को लेकर फ़िकरमंद रहती हैं। फिर चाहे वे छोटे हों, बड़े या बहुत बड़े। एक्सपर्ट मानते हैं कि हर ब्रेस्ट साइज सुंदर है, बशर्ते कि वे स्वस्थ हों।

महिलाएं अपने ब्रेस्ट के आकार को लेकर अक्सर असहज महसूस करती हैं। कुछ महिलाएं इसे बढ़ाना चाहती हैं, तो कुछ घटाना। असल में ब्रेस्ट साइज का कोई पैमाना सही नहीं है। आकार से ज्यादा जरूरी है ब्रेस्ट हेल्थ पर ध्यान देना। आपके ब्रेस्ट की जो भी साइज़ है, उसके साथ सहज रहना जरूरी है। कई योगासन हैं जो ब्रेस्ट को होने वाली बीमारियों के जोखिम को दूर रखकर स्वस्थ रखती हैं। यहां ब्रेस्ट हेल्थ के लिए ऐसे ही कुछ योगासनों के बारे में जानें डॉक्टर से-

ब्रेस्ट हेल्थ के लिए फिजिकल और मेंटल हेल्थ पर ध्यान देना आवश्यक

डॉ. स्मृति अपने इन्स्टाग्राम पोस्ट में कहती हैं, ‘ब्रेस्ट साइज़ बढ़ाने या घटाने के स्थान पर आप यह सोचें आपके अंग कितने स्वस्थ हैं? आपका ब्लड कितना साफ रहता है? अपने गट हेल्थ पर ध्यान दें। अपने मंकी माइंड (Monkey mind) पर कंट्रोल करें। मानसिक स्वास्थ्य (Mental health) पर काम कर मानसिक रूप से स्थिर बनें। अपने शरीर से प्यार करें। जिस दिन शारीरिक रूप से किसी और की तरह दिखना बंद कर देंगी, उस दिन आपका अपना शरीर और ब्रेस्ट साइज़ भी सर्वश्रेष्ठ लगने लगेगा।’

डॉक्टर के बताये योगासन, जो ब्रेस्ट हेल्थ के लिए सभी महिलाओं के लिए जरूरी हैं 

1. भुजंगासन (Bhujangasana or Cobra pose)

भुजंगासन दर्द दूर करने के लिए कंधों और गर्दन को खोलता है। पेट को टोन करता है। पूरी पीठ और कंधों को मजबूत बनाता है। ब्रेस्ट को सही आकार में लाता है। ब्लड फ्लो में सुधार लाकर थकान और तनाव कम करता है।

कैसे करें भुजंगासन (How to do Bhujangasana)

पेट के बल लेट जाएं। कंधों और हथेलियों को अपनी जगह रखते हुए सांस लें।
सिर, छाती और पेट को उठाएं।

कोहनी पर झुके हुए हाथ धीरे-धीरे गर्दन की ओर झुकाएं। ऊपर की ओर देखें।
पेट के बल लेट जाएं। कंधों और हथेलियों को अपनी जगह रखते हुए सांस लें।
सिर, छाती और पेट को उठाएं।

2. सेतुबंधासन (setubandhasana or Bridge Pose)

Yoga for women

सेतु बंधासन करते समय गर्दन, ब्रेस्ट, फ्लेक्सर मांसपेशियों और जांघों के पिछले हिस्से की मांसपेशियों में खिंचाव होता है। यह इन मांसपेशियों को मजबूत करने में मदद कर सकता है। यह हिप्स की मांसपेशियों को मजबूत करने में भी मदद कर सकता है।

कैसे करें सेतुबंधासना (how to do setu bandhasana)

पीठ के बल लेट कर दोनों घुटनों को मोड़ें।
पैरों को हिप्स की चौड़ाई पर फर्श पर सपाट रखें।
पैरों को फर्श पर दबाएं। सांस लें और हिप्स को ऊपर उठाएं।
रीढ़ को फर्श से ऊपर उठाएं।
चेस्ट को ऊपर उठाने के लिए बाहों और कंधों को नीचे दबाएं।
सांस लें और 4-8 सांसों तक रोकें।
ऊपर जाते समय सांस लें और नीचे आते समय सांस छोड़ें। सरवाइकल पेन हो तो अधिक नहीं करें।

3 उष्ट्रासन (Ustrasana or Camel Pose)

उष्ट्रासन चेस्ट, पेट और क्वाड्रिसेप्स की मांसपेशियों को मजबूत करता है। ग्लूट्स और हैमस्ट्रिंग (जांघ के पीछे) की मांसपेशियों को टोन करता है। उष्ट्रासन बैकबेंड में गर्दन को खींचते हुए सर्वाइकल स्ट्रेस को कम कर सकता है। यह कंधों, बाहों, पीठ और पैरों की मांसपेशियों को मजबूत करने में (yoga asanas for breast health) भी मदद कर सकता है।

कैसे करें उष्ट्रासन (how to do Ustrasana)

Yoga for women

घुटनोंसीधा के बल खड़ी हो जाएं। जांघों को पूरी तरह सीधा रखें।
पीछे की दिशा में झुकें।
हिप्स को आगे की दिशा में धकेलें।

सिर और बैक बोन को बिना तनाव के जितना हो सके पीछे की ओर झुकाएं।
शरीर और पीठ की मांसपेशियों को आराम दें।
सेंटर में रहते हुए सांस लें। साइड की तरफ रहते हुए सांस छोड़ें और फिर नॉर्मल सांस लें। सरवाइकल दर्द और पीठ के निचले हिस्से में दर्द होने पर एक हाथ से करें।

 

Never ignore unresolved problems related to Ladies' health

स्वयं और परिवार की पूरी जिम्मेदारी आमतौर पर घर की महिलाओं (Ladies) पर ही होती है। ऐसे में उनके लिए खुद को देने के लिए वक्त बचता ही नहीं। कामकाजी महिलाओं के लिए वर्क लाइफ बैलेंस करना और भी मुश्किल होता है। ऐसे में अक्सर महिलाएं अपने स्वास्थ्य के साथ समझौता करती हैं और यही वजह है कि महिलाओं में स्वास्थ्य संबंधी समस्याएं (Health Problems In Women) लगातार बढ़ रही हैं। अब वक्त आ गया है कि महिलाओं के स्वास्थ्य (Women’s Health) के मद्देनजर थोड़ा सा अलर्ट रहा जाएं। स्वास्थ्य से जुड़े कुछ समस्याएं हैं जो महिलाओं में आमतौर पर देखने को मिलता है, आज हम उन्हीं की बात कर रहे हैं।

महिलाओं में आम है ये हेल्थ से जुड़ी समस्याएं

ब्रेस्ट कैंसर

महिलाओं में ब्रेस्ट कैंसर के मामले लगातार बढ़ रहे हैं। महिलाओं में ब्रेस्ट सेल्स का अनियमित विकास ब्रेस्ट ब्रेस्ट कैंसर की असल बनता है। अक्सर शुरुआत मिल्क डक्ट की लायनिंग से होती है, जिसकी वजह से ब्रेस्ट में नॉड्स बन जाते हैं। ब्रेस्ट के ऊपर की स्किन के कलर में बदलाव, कड़ापन या ब्रेस्ट साइज में बदलाव इसके कुछ आम लक्षण होते हैं।

बार-बार पेशाब आना

Never ignore unresolved problems related to Ladies' health

मूत्र पथ के संक्रमण (यूटीआई) तब होते हैं जब बैक्टीरिया मूत्रमार्ग में प्रवेश कर जाते हैं और बढ़ने लगते हैं। वे महिलाओं में विशेष रूप से आम हैं, क्योंकि उनका मूत्रमार्ग पुरुषों की तुलना में अधिक छोटा होता है। इससे मूत्राशय तक पहुंचने के लिए बैक्टीरिया के यात्रा करने की लंबाई कम हो जाती है। यूटीआई के लक्षणों में बार-बार पेशाब आना, पेशाब करते समय दर्द या जलन और धुंधला पेशाब शामिल हैं।

चिंता और अवसाद

महिलाओं में हार्मोनल बदलाव से डिप्रेशन (अवसाद) और एंजायटी (चिंता) की संभावना बढ़ जाती है. प्रेग्नेंसी के दौरान और उसके बाद महिलाओं में ये समस्या काफी सामान्य होती जा रही है।

दिल की बीमारी

दिल की बीमारी महिलाओं में लगातार बढ़ रही है. दिल के दौरे के लक्षणों में सीने में दर्द, सांस लेने में तकलीफ और बाहों में कमजोरी शामिल हैं. हालांकि, महिलाएं दिल के दौरे के रूप में अपने लक्षणों को नहीं पहचान सकती हैं, उन्हें लगता है कि अधिक काम करने की वजह से उन्हें ऐसा महसूस हो रहा है. मैनोपोज हृदय रोग का कारण नहीं बन सकता है, मैनोपोज के बाद कुछ जोखिम कारक अधिक सामान्य होते हैं, जैसे हाई ब्लड प्रेशर और कोलेस्ट्रॉल और कम एस्ट्रोजन।